अलगाव और तलाक (1)
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Malachi 2:13-16 फिर तुम ने यह दूसरा काम किया है कि तुम ने यहोवा की वेदी को रोने वालों और आहें भरने वालों के आंसुओं से भिगो दिया है, यहां तक कि वह तुम्हारी भेंट की ओर दृष्टि तक नहीं करता, और न प्रसन्न हो कर उसको तुम्हारे हाथ से ग्रहण करता है। तुम पूछते हो, ऐसा क्यों? 14 इसलिये, क्योंकि यहोवा तेरे और तेरी उस जवानी की संगिनी और ब्याही हुई स्त्री के बीच साक्षी हुआ था जिस का तू ने विश्वासघात किया है। 15 क्या उसने एक ही को नहीं बनाया जब कि और आत्माएं उसके पास थीं? ओर एक ही को क्यों बनाया? इसलिये कि वह परमेश्वर के योग्य सन्तान चाहता है। इसलिये तुम अपनी आत्मा के विषय में चौकस रहो, और तुम में से कोई अपनी जवानी की स्त्री से विश्वासघात न करे। 16 क्योंकि इस्राएल का परमेश्वर यहोवा यह कहता है, कि मैं स्त्री-त्याग से घृणा करता हूं, और उस से भी जो अपने वस्त्र को उपद्रव से ढांपता है। इसलिये तुम अपनी आत्मा के विषय में चौकस रहो और विश्वासघात मत करो, सेनाओं के यहोवा का यही वचन है॥
वैवाहिक जीवन में बेवफाई और तलाक को, इन दिनों, एक जघन्य विश्वासघात की तुलना में एक स्वीकार्य जीवन शैली विकल्प के रूप में अधिक माना जाता है। लेकिन ऐसा कभी नहीं होना चाहिए था। कभी नहीँ!
मेरे एक मित्र की पहली पत्नी ने उसे दूसरे आदमी के लिए छोड़ दिया, जिसे वह एक अच्छा दोस्त मानता था। आजकल तलाक एक आम बात है। कहा जाता है कि लोग अलग हो जाते हैं। इसे भूल कर आगे बढ़ो। लेकिन बेवफाई एक इतनी गहरी चोट है कि शब्दों में इसका वर्णन नहीं किया जा सकता है। तो, जो आपके पास है उसके प्यार से गिरना, और जो आपके पास नहीं है उसकी बाहों में पड़ना, इस विश्वासघात के बारे में परमेश्वर क्या कहता है :
मलाकी 2:13-16 फिर तुम ने यह दूसरा काम किया है कि तुम ने यहोवा की वेदी को रोने वालों और आहें भरने वालों के आंसुओं से भिगो दिया है, यहां तक कि वह तुम्हारी भेंट की ओर दृष्टि तक नहीं करता, और न प्रसन्न हो कर उसको तुम्हारे हाथ से ग्रहण करता है। तुम पूछते हो, ऐसा क्यों?
14 इसलिये, क्योंकि यहोवा तेरे और तेरी उस जवानी की संगिनी और ब्याही हुई स्त्री के बीच साक्षी हुआ था जिस का तू ने विश्वासघात किया है।
15 क्या उसने एक ही को नहीं बनाया जब कि और आत्माएं उसके पास थीं? ओर एक ही को क्यों बनाया? इसलिये कि वह परमेश्वर के योग्य सन्तान चाहता है। इसलिये तुम अपनी आत्मा के विषय में चौकस रहो, और तुम में से कोई अपनी जवानी की स्त्री से विश्वासघात न करे।
16 क्योंकि इस्राएल का परमेश्वर यहोवा यह कहता है, कि मैं स्त्री-त्याग से घृणा करता हूं, और उस से भी जो अपने वस्त्र को उपद्रव से ढांपता है। इसलिये तुम अपनी आत्मा के विषय में चौकस रहो और विश्वासघात मत करो॥
..ना पत्नी ओर ना ही पति से। बिल्कुल नहीं!
यह परमेश्वर का ताज़ा वचन है। आज… आपके लिए… ।